संवाददाता घाटमपुर कानपुर। साढ़ थाना क्षेत्र के कुम्हाडिया गांव निवासी राम प्रसाद सोनकर ने बताया कि उनका 15 वर्षीय बेटा रोहित एक इंटर कॉलेज में हाईस्कूल का छात्र था। मंगलवार को साइकिल से स्कूल प्रवेश पत्र लेने को निकला था। स्कूल से प्रवेश पत्र लेकर छात्र भीतरगाव कस्बा पेपर देने के लिए स्टेशनरी का समान खरीदने गया जहां से वापस घर लौट रहा था। तभी साढ़ भीतरगांव मार्ग पर स्थित बेहटा बुजुर्ग गांव के पास पहुंचते ही तेज रफ्तार डंपर ने साईकिल सवार छात्र को टक्कर मारते हुए कुचल दिया। हादसे में साईकिल सवार छात्र की मौके पर ही दर्दनाक मौत हो गई। राहगीरों की सूचना पर मौके पर पहुंची साढ़ पुलिस ने युवक के शव को पी एम के लिए भेजा है। इधर सड़क हादसे की घटना से गुस्साए ग्रामीणों ने साढ़ भीतरगाव मार्ग पर जाम लगा दिया। सूचना पर पहुंची साढ़ थाना प्रभारी सुधीर कुमार ने ग्रामीणों को कार्रवाई करने का आश्वासन देकर जाम खुलवाकर यातायात बहाल कराया साढ़ थाना प्रभारी सुधीर कुमार ने बताया कि छात्र के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। डंपर को कब्जे में लिया गया है। तहरीर के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।घटना के लगभग पांच सौ मीटर दूर रोड पर डंपर छोड़कर चालक मौके से भाग निकला। सूचना पर पहुंची साढ़ पुलिस ने डंपर को कब्जे में लेकर चालक की तलाश शुरू कर दी हैं। हादसे के बाद छात्र के परिजनों का रो रोकर बुरा हाल है।घटना से गुस्साए ग्रामीणों ने साढ़ भीतरगांव मार्ग पर जाम लगाया था। मौके पर पहुंची पुलिस ने ग्रामीणों को समझने का प्रयास किया लेकिन परिजन और ग्रामीण छात्र के शव को लाने की जिद पर अड़े हुए है। ग्रामीणों का आरोप है, कि पुलिस ने उन पर लाठीचार्ज किया है। लाठी चार्ज से महिलाओं व ग्रामीणों को चोंट आई है। लाठी चार्ज से ग्रामीणों ने आक्रोश व्याप्त है। घटना के बाद पकड़े गए डंपर में लगी नंबर प्लेट पर नंबर पूरे नही थे, पुलिस चेचिस नंबर के आधार पर ट्रक मालिक की पहचान कर रही है। डंपर में नंबर न लिखा होने से लोगों में आक्रोश व्याप्त है। लोगों का आरोप है, कि आए दिन रोड पर बिना नंबरों के डंपर निकलते है। लेकिन प्रशासन के द्वारा कोई भी कार्रवाई नहीं की जाती। घटना के बाद मार्ग में जाम लगाए ग्रामीणों ने जाम नही खोला तो साढ़ के साथ घाटमपुर थाने की फोर्स भी मौके पर पहुंची है हालाकि पुलिस ग्रामीणों को समझा बुझाकर अपनी गाड़ी से ले जाकर मृतक के शव को परिजनों को दिखाकर जाम खुलवाकर यातायात बहाल कराने में सफल रही, इसके पहले दो घंटे बीतने के बाद भी परिजन और ग्रामीण छात्र के शव को दिखाने की जिद पर अड़े रहे थे।