दीवाली का कैसे करे पूजन जानिए ज्योतिषाचार्य नीरज शर्मा से

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हरिशंकर शर्मा

कानपुर यूपी।
कंपिर। हिंदू पंचांग के अनुसर, प्रत्येक वर्ष कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि के दिन दीपावली धूमधाम से मनाई जाती है। इस दिन माता लक्ष्मी और भगवान गणेश की विशेष पूजा की जाती है। रामायण और पुराणों के अनुसार जब मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम 14 वर्षों के वनवास के बाद अयोध्या लौटे थे, तब इसी दिन अयोध्या वासियों ने दीप जलाकर उनका भव्य स्वागत किया था। हिंदू पंचांग के अनुसार, इस वर्ष 12 नवंबर 2023 के दिन दीवाली मनाई जाएगी|

*दीवाली का शुभ मुहूर्त*

ज्योतिषाचार्य नीरज शर्मा ने बताया कि कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि का शुभारंभ दोपहर 02:45 बजे से होगा और इस तिथि का समापन 13 नवंबर को दोपहर 02:57 पर हो जाएगा। दिवाली के दिन रात्रि के समय भगवान गणेश और माता लक्ष्मी की पूजा की जाती है, ऐसे में दिवाली 12 नवंबर के दिन ही मनाई जाएगी।

*दीवाली पूजा का समय*

12 नवंबर के दिन पूजा का शुभ मुहूर्त शाम 05:45 से शाम 07:41 तक रहेगा। वहीं प्रदोष काल शाम 05:34 से रात्रि 08:12 तक रहेगा। इस विशेष मुहूर्त में धन की देवी माता लक्ष्मी और भगवान गणेश की उपासना करने से साधक को सुख, समृद्धि एवं ऐश्वर्य की प्राप्ति होती है|

*दीवाली पूजा का महत्व*

शास्त्रों में बताया गया है कि कार्तिक मास की अमावस्या तिथि के दिन की माता लक्ष्मी क्षीरसागर से प्रकट हुई थी। इसलिए इस दिन उनकी उपासना विशेष रूप से की जाती है। माता लक्ष्मी के स्वागत के लिए घर को सजाया जाता है और दीपक से हर कोने के अंधकार को मिटाया जाता है। मान्यता यह भी जाता है कि दिवाली की रात ही लक्ष्मी और भगवान विष्णु विवाह के बंधन में बंधे थे, जिस वजह से इस दिन का महत्व और अधिक बढ़ जाता है।


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